International tea day 2022 in hindi | international tea day theem and tea history in hindi | tea day 2022 in hindi | 21 may is celebrated as

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international tea day 2022 in hindi
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International tea day 2022 in hindi | international tea day theem and tea history in hindi | tea day 2022 in hindi | 21 may is celebrated as

International Tea Day: जीवन से जुड़ा कितना भी बड़ा फैसला हो हर किसी की चर्चा चाय की एक प्याली के साथ होती है. चाय पीने की आदत हिंदुस्तानियों में मशहूर है. कुछ लोग इसकी लत के मारे हैं तो कुछ अपने शौक के लिए पीते हैं. बता दें कि 21 मई का दिन अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस के रूप में मनाया जाता है.

हालांकि पहले यह 15 दिसंबर को मनाया जा रहा था. 2005 से इस दिन को 15 दिसंबर के दिन ही मना रहे थे. लेकिन भारत सरकार ने 2015 में संयुक्त राष्ट्र के खाद्य एवं कृषि संगठन के माध्यम से आधारित तौर पर अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस का प्रस्ताव रखा,

जिसे स्वीकार करने के बाद यह दिन 21 मई 2019 को प्रस्ताव पारित किया गया और इस दिन को मनाने की घोषणा की गई. ऐसे में चाय के बारे में सब कुछ जानना जरूरी है.

आज sangeetaspen.com इस लेख के माध्यम से बात करेंगे कि चाय दिवस कब और क्यों मनाया जाता है? इस वर्ष की थीम, चाय का इतिहास एवं चाय का सेवन किन चीजों के बाद नहीं करना चाहिए.तथा ये हमारे स्वास्थय के लिए कितनी लाभदायक और नुकसानदायक है

जानिए चाय का सफरनामा

चाय का इतिहास बहुत पुराना है. कहा जाता है कि लगभग 2700 ईसापूर्व चीनी शासक शेन नुंग बगीचे में बैठकर गर्म पानी पी रहे थे. इसी दौरान उनके कप में एक पेड़ की पत्ती आ गिरी. इसके बाद पानी का रंग बदल और महक भी उठी. जब राजा ने पत्ती वाले पानी के चखा तो उन्हें एक अलग स्वाद आया जो उन्हें अच्छा लगा. कुछ इस तरह से चाय का अविष्कार हुआ.

वहीं कुछ कथाओं में ऐसा भी कहा जाता है कि बौद्ध भिक्षुों द्वारा चाय का इस्तेमाल औषधि के रूप में किया जाता था और यहीं से चाय की शुरुआत हुई. वहीं भारत में चाय लाने का श्रेय ब्रिटेश ईस्ट इंडिया कंपनी को दिया जाता है. आज चाय किसी परिचय की मोहताज नहीं है. घरों और बजारों में चाय के कई प्रकार मौजूद हैं. जैसे – वाइट टी, ब्लैक टी, ग्रीन टी, ओलांग टी और हर्बल टी आदि. भारत में चाय का सबसे ज्यादा उत्पादन असम राज्य में किया जाता है.

अंतर्राष्ट्रीय चाय दिवस कब और क्यों मनाया जाता है? जानिए थीम, इतिहास

इंटरनेशनल टी डे 2022: चाय का नाम सुनते ही कई लोगों को इसकी तलब लग जाती है, आज चाय के ऐसे ही दीवानों (Tea Lovers) लिए एक ख़ास दिन है, क्योकि आज चाय दिवस है। हर साल चाय उत्पादन करने वाले देशों में 21 मई को अंतर्राष्ट्रीय चाय दिवस (International Tea Day) मनाया जाता है।भारत चाय का उपभोग करने के मामले में पहले नंबर और इसके उत्पादन के मामले में दूसरे नंबर पर है। पानी के बाद चाय दुनिया में सबसे ज्यादा पिया जाने वाला पेय है।

International Tea Day 2022
International Tea Day 2022International Tea Day 2022

अंतर्राष्ट्रीय चाय दिवस 2022 की थीम

अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस 2022 की थीम “दुनिया भर में चाय का जश्न मनाना” (Celebrating Tea Around The World) है। इंटरनेशनल टी डे 2021 की थीम “Tea and Fair Trade” (चाय और निष्पक्ष व्यापार) थी।चाय दिवस की थीम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गरीब देशों में निष्पक्ष तरीके से व्यापार करने पर जोर डालती है, जिससे चाय की पहुंच दुनिया भर में बढ़ने के साथ ही गरीब देशों का भी फायदा होगा।

कैमोमाइल चाय के फायदे

इंटरनेशनल टी डे क्यों मनाया जाता है? उद्देश्य

21 मई को मनाए जाने वाले अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस का मुख्य उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चाय के व्यापार, श्रमिकों एवं उत्पादकों पर इसके प्रभाव की ओर दुनिया एवं सरकारों का ध्यान आकर्षित करना है।

चाय का उत्पादन और इसकी प्रोसेसिंग लाखों परिवारों के लिए आजीविका का मुख्य साधन है, चाय पर आधारित यह महत्वपूर्ण दिवस चाय के स्थाई उत्पादन, इसकी खपत और व्यापार को बढ़ावा देता है

इसके अलावा यह वैश्विक, क्षेत्रीय और राष्ट्रीय स्तर पर भी यह सुनिश्चित करता है की चाय की इंडस्ट्री अत्याधिक गरीबी को कम करने, भूख से लड़ने और प्राकृतिक संसाधनों की सुरक्षा में अहम भूमिका निभा रहा है।

चाय का व्यापार कुछ गरीब देशों में लोगों की आय और निर्यात राजस्व का एक मुख्य स्रोत है जो चाय उत्पादक देशों में श्रमिकों को रोजगार प्रदान करता है। इसके साथ ही चाय का उत्पादन और इसकी प्रोसेसिंग गरीबी कम करने, भूख के खिलाफ लड़ाई में, महिलाओं के सशक्तिकरण और स्थलीय पारिस्थितिक तंत्र के सदुपयोग में योगदान देता है।

चाय के प्रकार (Types of Tea in Hindi)

अलग-अलग प्रकार की चाय और उनके फायदों के बारे में…

ग्रीन टी- (Green Tea) – स्टीम की हुई चाय की पत्तियों से ग्रीन टी तैयार की जाती है। इस चाय में Epigallocatechin Gallate (EGCG) नाम के कंपाउंड की मात्रा काफी अधिक होती है। EGCG हमारे स्वास्थ्य के लिए काफी लाभदायक पाया गया है।

ग्रीन टी में मौजूद यह कंपाउंड इन्फ्लेमेशन रोकने, हार्ट और ब्रेन की बीमारियों के खतरों को कम करने में मदद करता है। साथ ही वजन कम करने में भी लाभ पहुंचाता है। ग्रीन टी में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स ब्लैडर, ब्रेस्ट, लंग, स्टमक (पेट), पैंक्रियाटिक कैंसर के खतरे को कम कर सकते हैं। ग्रीन टी अल्ज़ाइमर और पार्किंसंस बीमारियों के खतरों को भी कम करता है और कोलेस्ट्रॉल लेवल नियंत्रित करता है।

ब्लैक टी- (Black Tea) – चाय की फर्मेंटेड पत्तियों से ब्लैक टी तैयार की जाती है। फ्लेवर्ड टी में भी इसका इस्तेमाल होता है और इसमें कैफीन की मात्रा सबसे अधिक होती है। कुछ स्टडीज से ये पता चला है कि सिगरेट स्मोकिंग से फेफड़े को होने वाले नुकसान को कम करने में ब्लैक टी मददगार होती है।

स्ट्रोक के खतरों को भी ब्लैक टी कम करती है। कम कैफीन, कम कैलोरी और बिना आर्टिफिशियल स्वीटनर वाले ड्रिंक के रूप में ब्लैक टी एक बेहतर विकल्प समझा जाता है। ब्लैक टी में गुड कोलेस्ट्रॉल बढ़ाने, गट हेल्थ बेहतर करने और ब्लड प्रेशर घटाने के गुण पाए जाते हैं।

व्हाइट टी- (White Tea) – व्हाइट टी सबसे कम प्रोसेस की हुई चाय होती है। एक स्टडी में ये सामने आया था कि अन्य चाय के मुकाबले व्हाइट टी में सबसे अधिक एंटी कैंसर गुण मौजूद होते हैं। आमतौर पर वजन घटाने के लिए ग्रीन टी का सेवन किया जाता है, लेकिन फैट कम करने के लिए व्हाइट टी भी उतना ही असरदार होती है।

ग्रीन और व्हाइट, दोनों चाय में कैफीन और EGCG कंपाउंड की मात्रा लगभग बराबर होती है। एक अन्य स्टडी के मुताबिक, व्हाइट टी बॉडी का मेटाबॉलिज़्म बढ़ाने में भी मदद करता है और इसमें स्किन एजिंग कम करने के गुण भी मौजूद होते हैं।

अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस
अंतरराष्ट्रीय चाय दिवस

ओलॉन्ग टी- (Oolong tea) – चाय की पत्तियों, कोंपलों और तनों को मिलाकर ओलॉन्ग टी बनाई जाती है। दुनिया में कुल इस्तेमाल की जाने वाली चाय में ओलॉन्ग टी का हिस्सा सिर्फ 2 फीसदी है। बावजूद इसके ओलॉन्ग टी से कई स्वास्थ्य लाभ होते हैं।

अगर ओलॉन्ग टी का सही मात्रा में सेवन किया जाए तो यह मेटाबॉलिज्म बेहतर करने और स्ट्रेस कम करने में मदद करता है। ओलॉन्ग टी बैड कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम भी कर सकता है। वजन कम करने, कैंसर के खतरे घटाने और ब्रेन फंक्शन बेहतर करने में भी ओलॉन्ग टी मदद करता है। ओलॉन्ग टी की एक क्वालिटी वुयी (Wuyi) टी होती है जिसे वेट लॉस सप्लीमेंट के तौर पर बेचा जाता है।

हर्बल टी- (Herbal Tea) – हर्ब, फ्रूट, सीड्स और रूट्स को गर्म पानी में डालकर तैयार किए गए ड्रिंक को हर्बल टी कहा जाता है। हर्बल टी में ग्रीन, व्हाइट, ब्लैक और ओलॉन्ग टी के मुकाबले एंटीऑक्सीडेंट्स की मात्रा कम होती है। जिंजर, जैस्मिन, मिंट, हिबिस्कस हर्बल टी में शामिल होते हैं। कुछ स्टडीज में ऐसे संकेत मिले हैं हर्बल टी वजन कम करने, जुकाम से बचाने और अच्छी नींद में मदद कर सकती है।

कैमोमाइल टी- (Chamomile tea) – कैमोमाइल टी में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स डायबिटीज़, आंखों की रोशनी कम होने, किडनी के नुकसान और कैंसर सेल के ग्रोथ से बचा सकते हैं।

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इचिनेशिया टी- (Echinacea Tea) – इचिनेशिया टी को जुकाम ठीक करने की घरेलू औषधि के तौर पर इस्तेमाल किया जाता है। ब्लड शुगर कम करने और ब्रेस्ट कैंसर के खतरे को कम करने के गुण भी इसमें पाए जाते हैं।

गुड़हल-हिबिस्कस टी – (Hibiscus Tea) –एक स्टडी में ये सामने आया था कि रोज़ तीन कप गुड़हल टी पीने से कुछ लोगों को ब्लड प्रेशर कम करने में मदद मिली। गुड़हल टी लीवर हेल्थ बेहतर करने और वजन घटाने में भी मददगार हो सकती है।

रेड टी- (Red Tea or Rooibos) – रेड टी दक्षिण अफ्रीका के फर्मेंटेड हर्ब रोइबॉस (Rooibos) से तैयार किया जाता है। रेड टी में फ्लेवोनॉयड्स कंपाउंड होते हैं जिसमें एंटी कैंसर गुण देखा गया है।

पुदीना चाय (Mint tea)- Mint tea यानी पुदीने की चाय, जैसा की नाम से ही पता चल रहा है कि यह चाय पुदीने की बनी होती है, जिसका फ्लेवर Cool और रिफ्रेशिंग होता है।यह चाय पेट से जुड़ी समस्याओं और ऐंठन को दूर करने में काफी सहायक होता है। पुदीने की पत्तियों में ऐंटीस्पासमोडिक गुण होते है जो मांसपेशियों में ऐंठन से राहत दिलाने में लाभकारी होता है, और इसके इस्तेमाल से पेट दर्द से आराम मिलता है।

अदरक वाली चाय (Ginger tea)- Bloating यानी पेट फूलने की दिक्कत या लूज मोशन (दस्त) की परेशानी हैं तो हम आपको बता दें कि अदरक को पेट से जुड़ी समस्याओं के लिए सबसे बेस्ट उपाय माना जाता है। अदरक में Gingerol नामक Bioactive compound (जैव सक्रिय यौगिक) पाया जाता है, जो इन दिक्कतों को कम करने में सहायक होता है।

हल्दी वाली चाय (Turmeric tea)- हल्दी में मौजूद ऐंटीइन्फ्लेमेट्री और ऐंटीऑक्सिडेंट के गुण होने के कारण हल्दी का इस्तेमाल कई बीमारियों को दूर करने में किया जाता है।अगर आप हल्दी वाली चाय में हल्दी के साथ में चुटकी भर काली मिर्च भी डाल दी जाए तो यह पेट में गैस और पाचन तंत्र की समस्याओं से निजात दिलाता है।

नींबू की चाय (Lemon Tea) – Lemon Tea बिना दूध की चाय में नीम्बू डालकर बनाई जाती है, लेमन टी पीने से आपका वजन तो कम होता ही है साथ ही यह पेट की गंदगी को साफ कर आपके पेट की चर्बी घटाने में भी आपकी सहायता करता है। यह हृदय संबन्धी कई समस्याओं से बचाने में सहायक सिद्ध हो सकता है।

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International Tea Day: विश्व बाजार में चाय की है काफी मांग

पूरे विश्व में अलग अलग तरीके से चाय बनाई जाती है,

कश्मीर के लोग कश्मीरी कहवा चाय बनाते हैं। राजस्थान के लोग अदरक की चाय, तुलसी की चाय, इलायची की चाय और मसाला चाय बनाकर पीते हैं। कुछ विदेशी लोग रोंगा साहो चाय बनाते हैं, लेमनग्रास टी, नींबू चाय, हरी चाय, गुड वाली चाय, मक्खन वाली चाय इस तरह की चाय भी बना कर लोग पिया करते हैं।

गुड वाली चाय सेहत के लिए बहुत अच्छी होती है। वैसे सभी तरह की चाय सेहत के लिए अच्छी है लेकिन अलग-अलग स्थान के लोग स्थान की विभिनता, वातावरण की विविधता के कारण अलग-अलग तरह की चाय उनके स्वास्थ्य के लिए अच्छी मानी गई है। हमारे खान पान का हमारे वातावरण से बहुत ही फर्क पड़ता है। इस पर वातावरण बहुत प्रभावकारी होता है।

इंटरनेशनल टी डे 2022
इंटरनेशनल टी डे 2022

International Tea Day : घर पर चाय बनाकर पीने और मार्केट में क्या फर्क है। घर पर चाय बनाकर पीते हैं, बहुत बार ऐसा होता है कि चाय में वह टेस्ट नहीं आता। आखिर क्यों?

ऐसा इसलिए होता है कि घर पर हम हर प्रकार से बचत करते हैं और चाय के नुकसान के बारे में भी अपने आप सोच लेते हैं और जब हम मार्केट में पीते हैं तो चाय बनाने वाला शख्स यह नहीं सोचता कि चाय नुकसान करती है या इस पर जो चीनी दूध अदरक इलायची की मात्रा कितनी डालनी है

इन सब बातों का विशेष ध्यान रखना होता है कुछ चीजें मौसम के हिसाब से सेट हो जाती है लेकिन कुछ चीजें सेट नहीं हो पाती जैसे कि गर्मी के समय में ज्यादा अदरक लॉन्ग काली मिर्च वाली चाय पीना भी नुकसानदायक होता है।

International Tea Day: चाय बनाने की परफेक्ट विधि

सबसे पहले चाय के पतीले में आधा कप पानी डाल ले तथा उसको गर्म होने दे उसमें हम एक छोटे चम्मच के 70% चाय उबले हुए पानी में डाल दें और उसको कम से कम 1 मिनट तक उबलने दें जब चाय उबल जाए तब आप उसमें इलायची या फिर अदरक इन दोनों में से एक चीज मौसम के अनुसार डाल दें उसके बाद आप 2 कप दूध पतीले में डाल दें और इसको उबलने दें।

International Tea Day  चाय बनाने की परफेक्ट विधि

जब चाय का कलर सुनहरा हो जाए और उसमें कम से कम 5 मिनट तक चाय उबल रही हो तब उसमें दो चम्मच चीनी डाल दें, उसके बाद 1 मिनट तक उसमें और उबाल दिलाएं फिर आप उसको दो कप में छानकर पी सकते हैं।

चाय एक ऐसी चीज है जिसे सब लोग पसंद करते हैं इसकी विश्व बाजार में काफी ज्यादा मांग है। पानी के बाद दुनिया में सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाला यह पदार्थ चाय ही है। जो लोगों की जिंदगी से ऐसे जुड़ा हुआ है। जो अलग नहीं हो सकता। एक अध्ययन के अनुसार माना गया है कि 80% लोग चाय पीते हैं।

किन चीजों के बाद ना पिएं चाय

  • जब आपको ठंडी चीज का सेवन करते हैं तो उसके तुरंत बाद चाय का सेवन नहीं करना चाहिए. वरना इससे पाचन तंत्र नकारात्मक रूप से प्रभावित हो सकता है.
  • नींबू का सेवन करने के बाद चाय का सेवन नहीं करना चाहिए. इसकी वजह से पेट फूलने या एसिडिटी की समस्या हो सकती है.
  • बेसन से बनी चीज जैसे चीला, ढोकला आदि चीजों का सेवन करने के बाद चाय का सेवन नहीं करना चाहिए. वरना इससे पाचन तंत्र से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं.
  • खाना खाने के तुरंत बाद चाय का सेवन करने से बचना चाहिए. वरना इससे ब्लड प्रेशर से जुड़ी समस्या हो सकती है जो दिल के लिए भी खतरनाक साबित हो सकती है.

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