Singhada Benefits:ठंड के मौसम में खाना शुरू करें सिंघाड़ा,मिलेंगे जबरदस्त फायदे

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water chestnut:singhara benefits and side effects in hindi
water chestnut:singhara benefits and side effects in hindi

Singhada Benefits:ठंड के मौसम में खाना शुरू करें सिंघाड़ा,मिलेंगे जबरदस्त फायदे

सिंघाड़ा क्या है ?(What is Shingada in Hindi?)

water chestnut : वैसे तो हर मौसम के फल के फायदे खास होते हैं। सिंघाड़ा जलिय पौधे का फल (shingade fruit) होता है। सिंघाड़ा मधुर, ठंडे तासिर का, छोटा, रूखा, पित्त और वात को कम करने वाला, कफ को हरने वाला, रूची बढ़ाने वाला एवं वीर्य या सीमेन को गाढ़ा करने वाला होता है। यह रक्तपित्त तथा मोटापा कम करने में फायदेमंद होता है।

सिंघाड़ा (shingada) का वानास्पतिक नाम Trapa natans Linn. var-bispinosa (Roxb.) Makino (ट्रापा नटान्स किस्म-बाइस्पाइनोसा) Syn-Trapa bispinosaRoxb है। यह Onagraceae (ओनाग्रेसी) कुल का है। सिंघाड़ा को अंग्रेज़ी में Water caltrops (वॉटर केलट्रॉपस्) कहते हैं,

इसके बीज पोषक, दर्द को कम करनेवाला, ब्रेस्ट साइज को बढ़ाने वाला, बुखार कम करने वाला, भूख बढ़ाने वाला तथा कमजोरी कम करने वाला होता है।

Water Chestnut or Singhada Benefits:सिंघाड़ा खाना कम ही लोगों को पसंद होता है, जबकि सिंघाड़ा सेहत के लिए बेहद लाभकारी है. सर्दी का मौसम शुरू होते ही सिंघाड़ा (Water chestnut)बिकना भी शुरू हो गया है दिल के आकार से मिलता-जुलता लाल और हरे रंग का सिंघाड़ा पानी में पैदा होता है. यह एक मौसमी फल है और इसमें कई ऐसे पोषक तत्व पाए जाते हैं, जो इन दिनों कई तरह की बीमारियों से बचाने में कारगर होते हैं.

जी हां, ये वही सिंघाड़ा (Water chestnut) है जिसका आटा आप व्रत के दौरान खाने के लिए इस्तेमाल करते हैं. लेकिन इसका सीजनल फ्रेश फल के तौर पर सेवन करना कम ही लोगों को पसंद होता है, लेकिन आज की इस पोस्ट के माध्यम से मै आपको सिंघाड़े के कई ऐसे फायदे बता रही हु जिन्हे जानकर आप इस सीजनल फल को अपने नियमित आहार में शामिल करना सुरु कर देंगे तो आइये जानते हैं. सिंघाड़ा खाने के बेसुमार फायदो के बारे में.

सेहत के लिए कैसे खास है सिंघाड़े का सेवन

आयुर्वेद में सिंघाड़ा सेहत के लिए बेहद लाभकारी बताया गया है. खासकर दिल की बीमारियों के लिए यह रामबाण औषधि है. साथ ही गले में खराश, थकावट, सूजन और ब्रोंकाइटिस में फायदेमंद है. वैसे तो आप इसे किसी भी वक्त खा सकते हैं, लेकिन खाली पेट इसका सेवन ज्यादा फायदेमंद माना गया है.

सिंघाड़े में पाए जाने वाले पोषक तत्व (Nutrients found in water chestnut)

सिंघाड़ा में विटामिन ए, सिट्रिक एसिड, फॉस्फोरस, विटामिन सी, मैंगनीज, थायमिन, कार्बोहाइड्रेट, फाइबर, आयोडीन और मैग्नीशियम पर्याप्त मात्रा में पाया जाता है, ये सभी पोषक तत्व सेहत के लिए फायदेमंद हैं.

सेहत के लिए फायदेमंद सिंघाड़ा (Water chestnut beneficial for health)

थॉयराइड में लाभकारी – सिंघाड़े में मौजूद आयोडीन, मैग्नीज जैसे मिनरल्स थायरॉइड और घेंघा रोग की रोकथाम में अहम भूमिका निभाते हैं. यह रक्तपित्त तथा मोटापा कम करने में फायदेमंद होता है.

अनिद्रा की दिक्कत दूर करे – सिंघाड़े का सेवन आप फल के तौर पर रोज़ाना कर सकते हैं. अगर आपको नींद न आने की दिक्कत है तो सिंघाड़ा आपकी इस दिक्कत को दूर करने में काफी मदद कर सकता है. इसके सेवन से आपकी अनिद्रा की परेशानी दूर होने लगेगी और आपको अच्छी नींद आने लगेगी.

पीलिया की बीमारी में राहत – पीलिया के बीमारी में शरीर में पित्त दोष बढ़ जाता है. सिंघाड़े में पित्त शामक गुण होते हैं, जोकि काफी लाभदायक होता है. सिंघाड़ा के आटे में उच्‍च रक्‍तचाप के जोखिम को कम करने की ताकत है.

ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल करे – ज्यादातर फलों को खाने पर आपको ब्लड शुगर लेवल बढ़ने का डर होता है. जबकि सिंघाड़ा खाने से ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल करने में मदद मिलती है. डायबिटीज के पेशेंट भी इसका सेवन आसानी के साथ कर सकते हैं.

टॉन्सिल और खराश से राहत दे – सिंघाड़ा एंटी-ऑक्सिडेंट गुणों से भरपूर होता है और ये गले की कई दिक्कतों को दूर करने में भी मदद करता है. गले में खराश और टॉन्सिल होने की दिक्कत से निजात पाने के लिए आप सिंघाड़े का सेवन कर सकते हैं.

महिलाओं के लिए फायदेमंद – प्रेग्नेंसी में सिंघाड़ा खाने से मां और बच्चा दोनों स्वस्थ रहते हैं. इससे गर्भपात का खतरा भी कम होता है. इसके अलावा सिंघाड़ा खाने से पीरियड्स की समस्याएं भी ठीक होती है.

दांत और हड्डियां मजबूत करे – शरीर की कमजोरी को दूर करने में सिंघाड़ा मदद करता है. इतना ही नहीं दांतों और हड्डियों को मजबूती देने का काम भी सिंघाड़ा आसानी के साथ करता है. सिंघाड़े में काफी मात्रा में कैल्शियम पाया जाता है जिसके चलते ये दांतों और हड्डियों के लिए बेहतर माना जाता है

गैस और अपच से राहत – पेट की दिक्कतों को कम करने में भी सिंघाड़े का सेवन काफी फायदा करता है. ये गैस, एसिडिटी, कब्ज और अपच जैसी दिक्कतों से राहत देता है. साथ ही भूख न लगने की परेशानी को कम करने में भी मदद करता है.

सिंघाड़ा खाने के नुकसान

Water chestnut side effects for health

  • सिंघाड़े के सेवन के तुरंत बाद पानी पिने से खांसी होने की संभावना रहती है.
  • अधिक सिंघाड़े का सेवन पाचन तंत्र को प्रभावित करता है.
  • कुछ लोगों को इससे पेट दर्द, आँतों में सूजन और कब्ज जैसी समस्याएं हो सकती हैं.

सिंघाड़े खाने का सही तरीका

आप सिंघाड़े को कच्चा भी खा सकते हैं. इसके अलावा इसे उबाल कर नमक के साथ भी खाया जाता है. जब सिंघाड़े का सीजन नहीं होता, तब भी इसके आटे का इस्तेमाल हलवा वगैरह बनाने में किया जाता है.
सिंघाड़े को नियमित रूप से खाने से सांस संबधी समस्याओं से भी आराम मिलता है.

सिंघाड़े का उपयोगी भाग (Useful Parts of Singhara)

आयुर्वेद में सिंघाड़े के फल और पत्ते का सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है।

सिंघाड़ा का इस्तेमाल कैसे करें ?(How to Use Singhara in Hindi?)

अगर आप किसी ख़ास बीमारी के इलाज के लिए सिंघाड़े (Shingade fruit) का उपयोग कर रहें हैं तो आयुर्वेदिक चिकित्सक की सलाह ज़रूर लें।

चिकित्सक के परामर्शानुसार-

5-10 ग्राम चूर्ण और
15-30 मिली हिम का प्रयोग कर सकते हैं।

सिंघाड़ा कहां पाया या उगाया जाता है?(Where is Singhara Found or Grown in Hindi?)

समस्त भारत में मुख्यत बिहार, पश्चिम बंगाल, उड़ीसा, गुजरात, उत्तर प्रदेश तथा मध्य प्रदेश में तालाबों आदि में इसकी खेती की जाती है। सिंघाड़े के आटे से बने खाद्द पदार्थो का प्रयोग व्रत आदि में किया जाता है। इसके फलों का आटा (singhara atta)अत्यन्त पौष्टिक एवं मधुर होता है।

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