World Day of Social Justice 2021 : विश्व सामाजिक न्याय दिवस क्यों मनाया जाता है, जाने इसका इतिहास व महत्व
World Day of Social Justice 2021 : विश्व सामाजिक न्याय दिवस क्यों मनाया जाता है ? जाने इसका इतिहास व महत्व – World Day of Social Justice 2021 date,Significance, History
दुनिया में लोगों के बीच तरह तरह के भेदभाव पैदा होते जा रहे हैं, जो कि लोगों के बीच दूरी का कारण बन गये हैं. इन भेदभाव के कारण कई लोगों को अनेक प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ता है. वहीं दुनिया में इस तरह की बुरियों को खत्म करने के लिए प्र्तेक वर्ष ‘विश्व सामाजिक न्याय दिवस’ (World Day of Social Justice ) मनाया जाता है.
इस दिवस को कई उद्देश्यों को प्राप्त करने के मकसद के लिए बनाया गया है. इस दिवस के दिन कई तरह के कार्यक्रमों का आयोजन करके लोगों को जागरूक किया जाता है. ये दिवस मुख्य रूप से नस्ल, वर्ग, लिंग, धर्म, संस्कृति, भेदभाव, बेरोजगारी से जुड़ी हुई कई समस्याओं को हल करने के उद्द्श्ये से हर साल मनाया जाता है.
World Day of Social Justice Importance
हलाकि भारतीय संविधान सामाजिक न्याय की आधारशिला पर खड़ा है। हमारे संविधान निर्माताओं ने आर्थिक, सामाजिक, शैक्षणिक और लैंगिक आदि रूपों से पिछड़े तबकों को बराबरी पर लाने के लिए कई अहम प्रावधान किए हैं। बीते सात दशक में हमने इस दिशा में काफी प्रगति भी की है, लेकिन कई मोर्चों पर अभी लंबा सफर तय करना है।
किस दिन मनाया जाता है विश्व सामाजिक न्याय दिवस – World day of social justice Date
हर साल 20 फरवरी के दिन ये दिवस पूरी दुनिया में मनाया जाता है. संयुक्त राष्ट्र द्वारा साल 2007 में इस दिन को मनाने की घोषणा की गई थी. वहीं साल 1995 में कोपेनहेगन, डेनमार्क में सोशल डेवलपमेंट के लिए विश्व शिखर सम्मेलन आयोजित किया गया था.
इस शिखर सम्मेलन में 100 से अधिक राजनीतिक नेताओं ने गरीबी, पूर्ण रोजगार के साथ-साथ लोगों के जीवन स्तर को बेहतर बनाने का लक्ष्य रखा था. इसके अलावा समाज के लिए कार्य करने के लक्ष्य को हासिल करने का उद्देश्य भी इस आयोजन में रखा गया था.
जिसके बाद 26 नवंबर, 2007 को संयुक्त राष्ट्र महासभा ने कोपेनहेगन में हुए इस शिखर सम्मेलन के लक्ष्यों को पूरा करने के लिए 20 फरवरी को विश्व सामाजिक न्याय दिवस के रूप में नामित किया था. इसके बाद साल 2009 में सबसे पहले इस दिन को पूरे विश्व में मनाया गया था.
विश्व सामाजिक न्याय दिवस के लक्ष्य प्राप्त कैसे होंगे – Importance of world day of social justice
विश्व सामाजिक न्याय दिवस के उद्देश्यों को पूरा करने के मकसद से संयुक्त राष्ट्र और अंतर्राष्ट्रीय श्रम कार्यालय एक साथ मिलकर कार्य कर रहे हैं. संयुक्त राष्ट्र और अंतर्राष्ट्रीय श्रम कार्यालय द्वारा लोगों के बीच इस दिन के महत्व को बढ़ाने के उद्देश्य से कई कार्य किए जा रहे हैं.
वहीं हर साल दुनिया के लगभग हर देश में विश्व सामाजिक न्याय दिवस को मनाया जाता है और इसके प्रति अपने देश के लोगों के बीच जागरूकता पैदा करने का कार्य किया जाता है.
विश्व सामाजिक न्याय दिवस के लिए भारत द्वारा उठाए गए कदम – world day of social justice in India
भारत के सविधान को बनाते समय देश में सामाजिक न्याय का खासा ध्यान रखा गया था. वहीं इस वक्त हमारे देश के सविधान में कई ऐसा प्रावधान मौजूद हैं, जो कि सामाजिक न्याय को सुनिश्चित करने के लिए बनाए गए हैं.
सुंयक्त राष्ट्र के साथ कदम से कदम मिलाकर भारत सरकार सामाजिक न्याय के लिए निरंतर अनेक कार्य कर रही है. भारत देश में कई तरह की जाति के लोग मौजूद हैं, इसके अलावा हमारे देश में कई ऐसी प्रथाएं हैं जो की सामाजिक न्याय के लिए खतरा हैं और इन्हीं चीजों से लड़ने के लिए भारत ने कई महत्वपूर्ण कार्य भी किए हैं.
विश्व सामाजिक न्याय दिवस भारत में किस तरह मनाया जाता है – How is this day celebrated in India
भारत सरकार ने कई ऐसे आयोगों का गठन किया है जो कि सामाजिक न्याय के हितों के लिए कार्य करते हैं. भारत के सामाजिक न्याय और अधिकारिता मंत्रालय द्वारा कई योजनाओं की मदद से भी लोगों की सहायता की जाती है.
वहीं राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग से लकेर राष्ट्रीय महिला एवं बाल विकास आयोग जैसे सराकरी संगठन दिन रात हमारे समाज से भेदभाव,बेरोजगारी और बच्चों की सुरक्षा के लिए कार्य कर रहे हैं. और 20 फरवरी के दिन इन संगठनों द्वारा कई कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जाता है.
भारत में सामाजिक न्याय की आवश्यकता – The need for social justice in India
भारत सरकार द्वारा हमारे देश से गरीबी, बेरोजगारी, लोगों के बीच असमानता जैसी चीजों को खत्म करने की बहुत आवश्यकता है. हालांकि हमारी सरकार द्वारा इन चीजों को खत्म करने के लिए अनेक प्रकार कि कोशिशें की जा रही हैं.
लेकिन अभी भी हमारे देश में इन समस्याओं से पूरी तरह से निपटा नहीं गया है.भारत सरकार इस दिवस को मनाकर लोगों को शिक्षा का महत्व, भेदभाव नहीं करने जैसी चीजों के बारे में जागरूक करने में लगी हुई है और उम्मीद है कि आनेवाले सालों में भारत सरकार अपने इन लक्ष्यों में कामयाब हो जाएगी.